अपना पूरा उम्र हम आनंद पाने के इंतजाम में निकल देते हैं फिर भी उतने खुश नहीं रहते …… 

हमने सुना है भगवान कृष्ण के उन भक्तों के बारे में जो अपना सब लूटा कर अत्यंत गरीबी में भी आनंदित रहते हैं।

आनंद के एकमात्र स्रोत तो श्री भगवान कृष्ण हैं….

उनकी शरण में रहे बिना जीव कभी भी आनंदित नहीं रह सकता