क्या आप जानते हैं
अयोध्या की सरयू नदी के दाहिने तट पर ऊंचे टीले पर स्थित हनुमानगढ़ी अति प्राचीन मंदिर है। लंका पर विजय करने के बाद हनुमान जी यहां एक गुफा में रहते थे और रामजन्म भूमि और रामकोट की रक्षा करते थे। इसे हनुमान जी का घर भी कहा जाता है। मंदिर परिसर में मां अंजनी व बाल हनुमान की मूर्ति है जिसमें हनुमान जी, मां अंजनी की गोद में बालक रूप में लेटे हैं। अथर्ववेद में अयोध्या को ईश्वर का नगर बताया गया है इसकी संपन्नता की तुलना स्वर्ग से की गई है। मान्यता है की पवनपुत्र हनुमान सदैव हनुमानगढ़ी में विराजमान रहते हुए कोतवाल के रूप में अयोध्या की रक्षा करते हैं।
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